तर्ज ----मुहब्बत की झूठी कहानी
तुझे छोड़कर बाबा किसको बुलाएं , हाल बेहाल है किसको सुनाए
तुम न सुनोगे तो कौन सुनेगा ,तेरे बिना बाबा कैसे दुखड़ा मिटेगा
मेरी आँखे आंसुओ से भीग न जाएं तुझे छोड़कर बाबा किसको बुलाएं
शरण तेरी आये है सुनलो सदायें , तेरा दर छोड़के हम किस दर जाएं
दर तेरे आये है न ठुकराए तुझे छोड़कर बाबा किसको बुलाएं
तुम्ही मेरी जिंदगी हो तुम्ही मेरी प्रीत हो ,जाने न इसके सिवा हम दुनिया की रीत को
तेरे आसरे है हमें अपनाएं तुझे छोड़कर बाबा किसको बुलाएं
सारा जग छोड़ बाबा तेरे दर आये , इस दुनिया के है ठुकराये
ममता की छांव में हमको बिठाये तुझे छोड़कर बाबा किसको बुलाएं
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