बुधवार, 22 जून 2016

भजनमाला ---49

चरण में आपके गुरुवर अटल श्रद्धा रहे मेरी 
शरण में ही रहूँ निशदिन अटल श्रद्धा रहे मेरी 

न इच्छा भोग की हो रोग कुछ व्यापे नहीं तन में 
बने सद्योग का साधन अटल श्रद्धा रहे मेरी 

अहिंसक भाव हों मन में न हो प्रतिकार की इच्छा 
सदा सत्सग ही भावे अटल श्रद्धा रहे मेरी 

न हो अभिमान धन जन बुद्धि विद्या का कभी पैदा 
मिलेगा धाम ईश्वर का अटल श्रद्धा रहे मेरी 
@मीना गुलियानी 

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