Meena's Diary
शुक्रवार, 10 अप्रैल 2020
तेरी फ़िक्र होती है
कैसे तेरा न ज़िक्र करुँ तेरी फ़िक्र होती है
इस दिल को तेरी कमी महसूस होती है
तेरी सलामती की दुआ जुबां पर होती है
@मीना गुलियानी
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
‹
›
मुख्यपृष्ठ
वेब वर्शन देखें
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें