गुरुवार, 3 नवंबर 2016

पिया जी तोहे मन में बसाके

दिल को न आये चैन पिया जी तोसे नैना मिलाके
हम तो हुए बेचैन पिया जी तोहे मन में बसाके

बरसों पहले न था ये ऐसा
दर्द जगा जो पाया न ऐसा
जागूँ मैं सारी सारी रैन

 उड़ गई मोरी आँखों की निंदिया
पूछे  मुझसे माथे की बिंदिया
कासे कहूँ मैं बैन

पड़ गई तेरे प्यार में सैयां
भूली डगर हुई भूल भुलैया
तड़पत हूँ दिन रैन
@मीना गुलियानी



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