तुम्हारा चेहरा सब कुछ बयां करता है
जो तुम्हारा मन गुस्ताखियाँ करता है
एक झलक पाने को कितना चलते हो
सफर है मुश्किल पर नहीं समझते हो
मुकदद्ऱ में नहीं बेकार ज़िद करते हो
तकदीर बदलने को क्या कर गुज़रते हो
लौट भी जाओ मान लो तुम कहना मेरा
मिलेंगे फिर कभी बेकार हठ करते हो
@मीना गुलियानी
जो तुम्हारा मन गुस्ताखियाँ करता है
एक झलक पाने को कितना चलते हो
सफर है मुश्किल पर नहीं समझते हो
मुकदद्ऱ में नहीं बेकार ज़िद करते हो
तकदीर बदलने को क्या कर गुज़रते हो
लौट भी जाओ मान लो तुम कहना मेरा
मिलेंगे फिर कभी बेकार हठ करते हो
@मीना गुलियानी
उम्दा बेहतरीन अस्आर।
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