दिल मेरा जाने कहाँ खो गया
हँसी को भी मैंने आज खो दिया
चन्द्रमा अमावस का कभी पूनम का
कभी घट जाता है तो कभी ये बढ़ता
दिल के टुकड़े सारे समेटकर उठाये
बड़े यत्न से उनसे फूलदान सजाये
सुनी चुपचाप मैंने मौसम की सदा
तेरे कदमों में सिर झुकाया ऐ खुदा
तुम्हीं सुन लो मेरे दिल की सदा
खोई है चाबी तू ढूंढ़के लादे खुदा
@मीना गुलियानी
हँसी को भी मैंने आज खो दिया
चन्द्रमा अमावस का कभी पूनम का
कभी घट जाता है तो कभी ये बढ़ता
दिल के टुकड़े सारे समेटकर उठाये
बड़े यत्न से उनसे फूलदान सजाये
सुनी चुपचाप मैंने मौसम की सदा
तेरे कदमों में सिर झुकाया ऐ खुदा
तुम्हीं सुन लो मेरे दिल की सदा
खोई है चाबी तू ढूंढ़के लादे खुदा
@मीना गुलियानी
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