छलकते हुए अश्कों ने बताया दर्द कैसा है
उसकी बेरुखी ने समझाया हमदर्द कैसा है
घमण्ड ने जताया उसके पास खूब पैसा है
व्यवहार ने बताया उसका परिवार कैसा है
मीठी वाणी से पता चला वो इंसान कैसा है
तल्खियत से पता चला ज्ञान कितना है
स्पर्श से पता चला कि वो व्यक्ति कैसा है
वक्त ने बता दिया कि ये रिश्ता कैसा है
@मीना गुलियानी
उसकी बेरुखी ने समझाया हमदर्द कैसा है
घमण्ड ने जताया उसके पास खूब पैसा है
व्यवहार ने बताया उसका परिवार कैसा है
मीठी वाणी से पता चला वो इंसान कैसा है
तल्खियत से पता चला ज्ञान कितना है
स्पर्श से पता चला कि वो व्यक्ति कैसा है
वक्त ने बता दिया कि ये रिश्ता कैसा है
@मीना गुलियानी