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बुधवार, 23 जनवरी 2019

भविष्य हो उज्ज्वल

करती हूँ मैं प्रार्थना
कर लो तुम स्वीकार
आज प्रभु जी तुम
सबके भरदो भण्डार
जाए न खाली कोई
दुखियारा  तेरे दर से
घर घर उजियारा फैले
सूरज की रोशनी से
सपने साकार हों सबके
सबका शुद्ध चित्त हो
सबका ही हित हो
विश्व परिवार सदृश्य हो
पक्षी चहचहाते हों
 भँवरे  गुनगुनाते हों
मलयानिल बयार हो
सुखी सबका संसार हो
सबको मिले शुभ फल
खुशियाँ बाँटे हर पल
भविष्य हो उज्ज्वल
@मीना गुलियानी

2 टिप्‍पणियां:

  1. भँवरे गुनगुनाते हों
    मलयानिल बयार हो
    सुखी सबका संसार हो...दुआ में उठते हाथ ..बहुत सुन्दर सृजन सखी
    सादर

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