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शुक्रवार, 20 जुलाई 2018

वो गुज़रा ज़माना

किसी शाम सा था  तेरा
मेरी जिंदगी में ठहरना
बेशक वो था ज़रा सा
लेकिन बेहद ही खूबसूरत

अब तक भुला न पाया
 वो गुज़ारे जो हमने साथ
तन्हाई के रोमांचक पल
 मेरा जीवन दिया बदल

याद आती हैं तेरी बातें
वो मुलाक़ातें चाँदनी रातें
तेरा गुनगुनाना मुस्कुराना
कोई लौटादे वो गुज़रा ज़माना
@मीना गुलियानी



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