और कब तक ये दुःख सहेंगे
नैन भी प्यासे कब तक रहेंगे
तीर दिल पर हम भी सहेंगे
मेघ ये कब तलक न बरसेंगे
कयामत के दिन कब ढलेंगे
पत्थर दिल मोम पिघलेंगे
@मीना गुलियानी
नैन भी प्यासे कब तक रहेंगे
तीर दिल पर हम भी सहेंगे
मेघ ये कब तलक न बरसेंगे
कयामत के दिन कब ढलेंगे
पत्थर दिल मोम पिघलेंगे
@मीना गुलियानी
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें