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बुधवार, 15 अप्रैल 2015

गुरुदेव के भजन-61 (Gurudev Ke Bhajan-61)




बनके सवाली दर पे आया बाबा दो दर्शन 
दर्श को तेरे बाबा कबसे तरसें नयन 

बाबा तेरी महिमा बड़ी निराली है ,भरदो बाबा झोली मेरी खाली है 
कबसे आस लगाये बैठा कब होंगे दर्शन 

तुम बिन मेरा बाबा नहीं सहारा है नैया डोले सूझे नहीं किनारा है 
पार करो भवसागर से बाबा जी करो रहम 

प्रेम से बाबा जो भी तुम्हें ध्याते है ,तेरी याद में आंसू जो बह जाते है 
हर इक आंसू का वो कतरा बन जाता शबनम 

बाबा जी हम शरण तिहारी आये है नयन कटोरे भिक्षा पात्र हम लाये है 
दर्शन भिक्षा दे दो बाबा अब तो करो करम 

बाबा जी तुम भूलें मेरी माफ़ करो बच्चे हम नादान है अब दिल साफ़ करो 
शरण आये की लज्जा रखना बाबा तेरा धर्म 



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