दुःख हर्ता सुख कर्ता , जग पालन कर्ता -----स्वामी -----
घाटगेट महाकाली मंदिर में विराजे
सर पे पगड़ी सोहे, और दुशाला साजे ------स्वामी --------
करुणा की मूर्त है , छवि लगे अति प्यारी
जो कोई इनको ध्यावे , हरें विपदा सारी -----स्वामी -----------
गके रुद्राक्ष की माला भाल पे टिका साजे
पग में खड़ाऊँ सोहे ,घंटा ध्वनि बाजे --------स्वामी ------------
मुख तेजस्वी इनका, शोभा लगे प्यारी
सबके दिलों में विराजें ,गुण गाएँ नर नारी-----स्वामी -----------
प्रेम दया और भक्ति ,भाव से ये रीझे
वरदाता करुणामय, मन चाहा दीजे -------स्वामी -----------
काम क्रोध विषयों को बाबा दूर करें
प्रेम से जो जय बोले, तीनों ताप हरें -------------स्वामी ----------
बाबा जी की आरती, प्रेम से जो गावे
मनवांछित इच्छा को गुरुजान से पावे ---------स्वामी ----------
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