रे मन जपले नाम गुरूजी का
कटे यम फांसी रे
मुक्ति का पथ बतलाएँ तुमको
सीधी राह पे लाएँ वो तुमको
सारी विपदा टल जाती
मृत्यु टल जाती रे -----------
द्वार तेरे पे जो भी आते
मांगी मुरादें तुझसे हैं पाते
अंतर्मन में तुम्ही विराजे
घट घट वासी रे -----------------------
नैनन में कोई बसे न दूजा
करूँ मैं निशदिन तेरी ही पूजा
दिल की खिड़की खोलके पाया
प्रभु अविनाशी रे -------------------
@मीना गुलियानी
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